पुष्पदलविन्यास, जिसमें एक चक्र की सभी संरचनाऐं बंद होती हैं, किन्तु अध्यारोपित नहीं करती हैं, कहलाता है
ध्वजक (वेक्सीलरी)
कोरस्पर्शी (वालवेट)
कोरछादी (इम्ब्रीकेट)
व्यावर्तित (ट्युस्टेड)
सूची $I$ का सूची $II$ के साथ मिलान कीजिए:
सूची $I$ (पुंकेसर के प्रकार) | सूची $II$ (उदाहरण) |
$A$. एकलसंघी (मोनोएडेल्फस) | $I$.सिट्रस |
$B$. द्विसंघी (डाइएडेल्फस) | $II$. मटर |
$C$. बहुसंघी (पोलीएडेल्फस) | $III$. लिली |
$D$. अधिपर्णी/परिदल लग्न | $IV$. चाईना रोज/गुड़हल |
नीचे दिए गए विकल्पों से सही उत्तर चुनिए:
स्त्रीकेशर (पिस्टिल) का कौन सा भाग परागकणों को ग्रहण करता है
निम्नलिखित की परिभाषा लिखो।
त्रिज्या सममिति
पुष्पसूत्र दर्शाता है
नीचे दो कथन दिये गये हैं : एक निश्चयात्मक कथन $A$ है और दूसरा कारण $R$ है :
निश्चयात्मक कथन $A$ : एक पुष्प को रुपांतरित तने के रूप में परिभाषित किया जाता है जिसमें प्ररोह मेरिस्टेम का परिवर्तन पुष्पीय मेरिस्टेम में हो जाता है।
कारण $R$ : प्ररोह के पर्व संघनित होकर उत्तरोत्तर पवों पर पत्तीयों के बजाय विभिन्न पुश्पीय उपांग उत्पन्न करते हैं।
उपर्युक्त कथनों के संदर्भ में, नीचे दिये गये विकल्पों में से सही उत्तर चुनिए :