एक एकसमान छड़ जिसका घनत्व $\rho $ है, ${\rho _0}$ घनत्व के ${\rho _0} > \rho $ द्रव से भरे हुये एक टैंक में रखी है। टैंक में द्रव छड़ की लम्बाई से आधी ऊँचाई तक भरा है। छड़ इस प्रकार साम्यावस्था में है कि उसका निचला सिरा टैंक के पेंदें को छू रहा है व छड़ क्षैतिज से $60^\circ $कोण बना रही है। तो

  • A

    $\sin \theta = \frac{1}{2}\sqrt {{\rho _0}/\rho } $

  • B

    $\sin \theta = \frac{1}{2}\,.\,\frac{{{\rho _0}}}{\rho }$

  • C

    $\sin \theta = \sqrt {\rho /{\rho _0}} $

  • D

    $\sin \theta = {\rho _0}/\rho $

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लकड़ी का एक गुटका पानी में चित्रानुसार तैर रहा है। उसके उच्च तल पर एक सिक्का रखा है। दूरियाँ l व $ h$ प्रदर्शित हैं। यदि कुछ समय पश्चात् सिक्का पानी में गिर जाये तो

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कॉरमान (Kanman) रेखा एक सैद्धान्तिक रचना है जो धरती के वातावरण को वाह्या-अन्तरिक्ष से अलग करती है। यह वह ऊँचाई है, जहाँ ध्रुवीय उपग्रह की चाल $(8 \,km / s )$ से उड़ रहे एक विमान पर लगा उत्थापन (lift) बल उसके भार के बराबर हो जाता है। एक $7500 \,kg$ द्रव्यमान का लड़ाकू विमान, जिसके पंखों का क्षेत्रफल $30 \,m ^2$ है, के लिए कॉरमान रेखा की धरती से ऊँचाई निम्न में से .......... $km$  परास (range) में होगी? (मान लीजिए कि $h$ ऊँचाई पर वायु का घनत्व $\rho(h)=1.2 e^{-\frac{h}{10}} kg / m ^3$ है, जहाँ $h, km$ में है और उत्थापन बल (liff force) $\frac{1}{2} \rho v^2 A$ है | यहाँ $v$ वायुयान की चाल एवं $A$ उसके पंखों का क्षेत्रफल है।)

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गुएरिक (Guericke) के प्रयोग में वायुमंडलीय दाब के असर को दिखाने के लिए तांबे के दो अर्धवृत्तीय गोलों को एक दूसरे के साथ जोड़कर एक खोखला गोला बनाया जाता है, और इस गोले में निर्वात पैदा करने के लिए हवा निकाल दी जाती है। यदि प्रत्येक अर्धगोले की त्रिज्या $R$ है और वायुमंडलीय दाब $P$ है, तब अर्धगोलों को अलग करने के लिए न्यूनतम कितना बल लगाना होगा ?

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किसी गेंद का घनत्व $0.4 × 10^3 kg/m^3$  है। यदि यह गेंद $9 cm$  ऊँचाई से जल में गिरायी जाती है, तो वह ........ $cm$ गहराई तक जाएगी

बीकर में भरे द्रव में एक पिण्ड तैर रहा है। यदि इस पूरे निकाय को चित्रानुसार स्वतन्त्रतापूर्वक गुरुत्व के अन्तर्गत गिराया जाये तो द्रव के द्वारा पिण्ड पर लगाया गया उत्प्लावन बल होगा