दो एकसमान गैसों का प्रसार होता है $(i)$ समतापीय रीति से $(ii)$ रुद्धोष्म रीति से। किया गया कार्य
समतापीय रीति में अधिक होगा
रुद्धोष्म रीति में अधिक होगा
किसी में भी नहीं होगा
दोनों रीतियों में समान होगा
एक एकपरमाणुक आदर्श गैस एक क्षैतिज बत्रन (horizontal cylinder) में स्प्रिंग युक्त पिस्टन द्वारा बंद है (दर्शाये चित्रानुसार)। प्रारम्भ में गैस का तापमान $T_1$, दाव $P_1$ तथा आयतन $V_1$ है तथा स्प्रिंग विश्रांत अवस्था में है। अव गेस को बहुत धीरे-धीरे तापमान $T_2$ तक गर्म करने पर दाव $P_2$ तथा आयतन $V_2$ हो जाता है। इस प्रक्रिया में पिस्टन $x$ दूरी तय करता है। पिस्टन एवं वर्तन के मध्य घर्पण को नगण्य मानते हुए, सही कथन है(है)
$(A)$ यदि $V _2=2 V _1$ तथा $T _2=3 T _1$ है, तब स्प्रिंग में संचित ऊर्जा $\frac{1}{4} P _1 V _1$ है ।
$(B)$ यदि $V_2=2 V_1$ तथा $T_2=3 T_1$ है, तव आन्तरिक ऊर्जा में परिवर्तन $3 P_1 V_1$ है ।
$(C)$ यदि $V _2=3 V _1$ तथा $T _2=4 T _1$ है, तब गैस द्वारा किया गया कार्य $\frac{7}{3} P _1 V _1$ है।
$(D)$ यदि $V _2=3 V _1$ तथा $T _2=4 T _1$ है, तब गैस को दी गयी ऊप्मा $\frac{17}{6} P _1 V _1$ है ।
एक रुद्धोष्म संपीड़न के दौरान, एक द्विपरमाणुक आदर्श गैस के $2$ मोल का आयतन $50 \%$ कम किये जाने में $830 J$ का कार्य करना पड़ता है। इसके तापमान में परिवर्तन है लगभग $\dots K$: $\left( R =8.3 JK ^{-1} mol ^{-1}\right)$
एक गैस का सामान्य ताप और दाब को एकाएक संपीडित करके उसका आयतन, प्रारम्भिक आयतन का एक-चौथाई किया जाता है। यदि $\gamma $ का मान $3/2$ है माना जाता है, तो अन्तिम दाब ....... वायुमण्डलीय होगा
$1$ लीटर आयतन की शुष्क हवा जो कि मान ताप व दाब (STP) पर है, रूद्धोष्म प्रक्रिया से प्रसारित होकर $3$ लीटर आयतन की हो जाती है। यदि $\gamma=1.40$, तो हवा द्वारा किये गये कार्य का मान है।$\left(3^{1.4}=4.6555\right)$ [हवा को आदर्श गैस मानें]
एक ऊष्मारोधी (thermally insulating) बेलन के मध्य में एक घर्षणहीन चलायमान (frictionless movable) तथा ऊष्मारोधी द्विभाजक (partition) चित्रानुसार, लगा है। इसके दोनों भागों में एक-एक मोल (mole) आदर्श गैस हैं, जिसकी स्थिर आयतन पर विशिष्ट ऊष्मा $C_v=2 R$ है। यहाँ, $R$ गैस नियतांक है। आरंभ में, दोनों भागों का आयतन $V_0$ तथा तापमान $T_0$ है। बाएँ भाग में एक विद्युत हीटर लगा है, जिसको बहुत कम शक्ति (very low power) पर चलाकर बांयी तरफ की गैस को $Q$ ऊष्मा दी जाती है। इससे द्विभाजक, धीमी गति से दांयी तरफ जाता है जिससे दांयी तरफ का आयतन घटकर $V_0 / 2$ हो जाता है। इसके फलस्वरूप बांयी एवं दार्यीं भागों में गैस का तापमान क्रमशः $T_L$ तथा $T_R$ हो जाता है। हीटर, बेलन तथा द्विभाजक के तापमानों में परिवर्तन उपेक्षणीय है।
($1$) $\frac{T_R}{T_0}$ का मान है -
$(A)$ $\sqrt{2}$ $(B)$ $\sqrt{3}$ $(C)$ $2$ $(D)$ $3$
($2$) $\frac{Q}{R T_0}$ का मान है -
$(A)$ $4(2 \sqrt{2}+1)$ $(B)$ $4(2 \sqrt{2}-1)$ $(C)$ $(5 \sqrt{2}+1)$ $(D)$ $(5 \sqrt{2}-1)$
दिये गए सवाल का जवाब दीजिये ($1$) और ($2$)