$HClO$ एक दुर्बल अम्ल है, $HClO$ के $0.1\,M$ विलयन में ${H^ + }$ आयनों का सान्द्रण होगा $({K_a} = 5 \times {10^{ - 8}})$
$7.07 \times {10^{ - 5}}\,m$
$5 \times 10^{-9}\,\,m$
$5 \times {10^{ - 7}}\,m$
$7 \times {10^{ - 4}}\,m$
$0.1\,M$ एकल क्षारीय अम्ल का $pH\, 4.50$ है। साम्यावस्था पर $H ^{+}$, $A ^{-}$ तथा $HA$ की सांद्रता की गणना कीजिए। साथ ही एकल क्षारीय अम्ल के $K _{ a }$ तथा $pK _{ a }$ के मान की भी गणना कीजिए।
$310 \,K$ पर जल का आयनिक गुणनफल $2.7 \times 10^{-14}$ है। इसी तापक्रम पर उदासीन जल की $pH$ ज्ञात कीजिए।
यदि $0.1\,N$ एसीटिक अम्ल का विलयन $30\%$ विघटित होता है, तो उसका हाइड्रोजन आयन सान्द्रण होगा
एक पात्र में $3,4$ तथा $5\, pH$ वाले तीन अम्ल विलयनों के बराबर आयतन मिलाये जाते हैं। मिश्रण में $H ^{+}$ आयन की सांद्रता ........ $10^{-4} M$ क्या होगी ?
कमरे के ताप पर एक $ 0.1\,N $ अम्लीय विलयन के आयनन की कोटि $0.1 $ है तो $O{H^ - }$ आयनों की सांद्रता होगी