एक ठोस चालक गोले का आवेश $Q$ है, इसके चारों और अनावेशित संकेन्द्रीय गोलीय कोश है। ठोस गोले की सतह और खोखले गोलीय कोश की बाह्य सतह के बीच विभवान्तर $V$ है। यदि अब कोश पर आवेश $-3Q$ है, तो दो समान सतहों के बीच विभवान्तर.......$V$ है
$1$
$2$
$4$
$-2$
एक स्थान पर विधुत क्षेत्र $\overrightarrow{ E }=( Ax + B ) \hat{ i }$ है, जहाँ $E NC ^{-1}$ में तथा $x$ मीटर में है। नियतांकों के मान, $A =20 \,SI$ unit तथा $B =10 \,SI$ unit हैं। यदि $x =1$ पर विभव $V _{1}$ तथा $x =-5$ पर विभव $V _{2}$ है तो $V _{1}- V _{2}$ ......$V$ होगा ।
यदि एक समबाहु त्रिभुज के तीनों शीर्ष पर $2q,\, - q,\, - q$ आवेश क्रमश: स्थित हैं, तो त्रिभुज के केन्द्र पर
किसी निश्चित आवेश वितरण में, शून्य विभव वाले बिन्दुओं को एक वृत्त $S$ के द्वारा जोड़ा गया है। $S$ के अंदर स्थित बिन्दुओं के विभव धनात्मक हैं। तथा बाहर स्थित बिन्दुओं के विभव ऋणात्मक हैं। एक धनात्मक आवेश जो कि गति करने के लिये स्वतंत्र है, $S$ के अंदर रखा गया है
$a, b$ एवं $c[a < b < c]$ त्रिज्याओं वाले तीन सकेन्द्रीय धात्विक कोशों $\mathrm{X}, \mathrm{Y}$ एवं $\mathrm{Z}$ पर पृष्ठ धारा घनत्व क्रमशः $\sigma,-\sigma$ एवं $\sigma$ है। कोशों $\mathrm{X}$ एवं $\mathrm{Z}$ पर विभव समान है। यदि कोशों $\mathrm{X}$ एवं $\mathrm{Y}$ की त्रिज्याऐं क्रमशः $2 \mathrm{~cm}$ एवं $3 \mathrm{~cm}$ हैं। कोश $Z$ की त्रिज्या_______________$\mathrm{cm}$ है।
एकसमान बूँदे जिनकी संख्या $125$ है, प्रत्येक को $50$ वोल्ट विभव से आवेशित किया जाता है। अब इन्हें जोड़कर बनी नई बूँद का विभव ......$V$ होगा