एक छड़ (दंड) चुम्बक की लम्बाई $^{\prime} 1 ^{\prime}$ है और इसका चुम्बकीय द्विध्रुव बल-आघूर्ण $^{\prime} M ^{\prime}$ है। यदि इसे आरेख ( चित्र ) में दिये गये अनुसार एक चाप के आकार में मोड़ दिया जाय तो, इसका नया चुम्बकीय द्विध्रुव बलआघूर्ण होगा:
$M$
$\frac{3}{\pi }M$
$\;\frac{2}{\pi }M$
$\frac{M}{2}$
एकसमान चुम्बकीय आघूर्ण $M$ वाले दो छोटे-छोटे दण्ड चुम्बक (चित्रानुसार) परस्पर लम्बवत् स्थित हैं। दोनों चुम्बकों के समकोण-अर्धक पर $d$ दूरी पर स्थित बिन्दु $P$ पर चुम्बकीय क्षेत्र की तीव्रता होगी
$10\, A-m^2$ के चुम्बकीय आघूर्ण की दो छोटी चुम्बकों को अक्षीय स्थिति में, उनके केन्द्रों से $0.1\,m $ दूरी पर रखा गया है। उनके बीच कार्यरत बल .....$N$ होगा
एक चुम्बक का द्विध्रुव आघूर्ण $M$ तथा इसकी अक्ष पर चुम्बकीय विभव $V $ है। द्विध्रुव आघूर्ण $\frac{M}{4}$ वाली एक अन्य चुम्बक के कारण उसी बिन्दु पर चुम्बकीय विभव होगा
$3.0 \,A-m^2$ चुम्बकीय आघूर्ण के एक छड़ चुम्बक को एकसमान चुम्बकीय प्रेरण $2 \times 10^{-5} \,T$ में रखा गया है। यदि चुम्बक का प्रत्येक ध्रुव $6 \times 10^{-4}\, N$ का बल अनुभव करता है तो चुम्बक की लम्बाई....$m$ है
एक छड़ चुम्बक की चुम्बकीय बल रेखाओं को निम्न में से किस चित्र द्वारा सही दर्शाया गया है