एक आवेशित कण $v$ वेग से $B$ चुम्बकीय क्षेत्र में गतिमान है। कण पर लगने वाला बल अधिकतम होगा जब
$v$ तथा $B$ एक ही दिशा में हो
$v$ तथा $B$ एक-दूसरे के विपरीत दिशा में हो
$v$ तथा $B$ लम्बवत् हों
$v$ तथा $B$ $45^\circ $ के कोण पर हों
आवेश $q$ तथा द्रव्यमान $m$ का एक कण $x$-अक्ष की दिशा में वेग $v$ से चलता हुआ $x > 0$ के क्षेत्र में प्रवेश करता है, जहाँ एकसमान चुम्बकीय क्षेत्र $B$ ,$\hat k$ दिशा में है। इस क्षेत्र में $x$-दिशा में कण दूरी d तक जायेगा, यहाँ $d$ का मान है
एक प्रोटॉन, एक ड्यूटॉन तथा एक $\alpha - $ कण समान विभवान्तर से त्वरित होकर एकसमान चुम्बकीय क्षेत्र में क्षेत्र के लम्बवत् प्रवेश करते हैं। इनकी गतिज ऊर्जाओं का अनुपात है
एक इलेक्ट्रॉन एक चुम्बकीय क्षेत्र में प्रवेश करता है। यदि चुम्बकीय क्षेत्र की दिशा इलेक्ट्रॉन के वेग के लम्बवत् है, तो
एक इलेक्ट्रॉन पूर्व की दिशा में क्षैतिज गति कर रहा है। ऊध्र्वाधर नीचे की ओर कार्यरत एक चुम्बकीय क्षेत्र, इस इलेक्ट्रॉन पर निम्न दिशा में बल आरोपित होगा
समान आवेश के दो कण $\mathrm{X}$ तथा $\mathrm{Y}$ एकसमान विभवान्तर द्वारा त्वरित किये गये जाते है। इसके बाद यह एक समान चुम्बकीय क्षेत्र परिसर में लम्बवत प्रवेश करते है तंथा क्रमशः $\mathrm{R}_1$ व $\mathrm{R}_2$ त्रिज्या के वृत्तीय पथ बनाते हैं। $\mathrm{X}$ तथा $\mathrm{Y}$ के द्रव्यमानों का अनुपात है: