दिखाये गये चित्रानुसार ' $3 K$ ' तथा ' $K$ ' ऊष्मा चालकता गुणांक एवं, क्रमशः 'd' तथा '3d' मोटाई वाले दो पदार्थो को जोड़कर एक पट्टिका बनायी गयी है। उनके बाहरी सतहों के तापमान क्रमशः ' $\theta_{2}$ ' और $^{\prime} \theta_{1}$ ' हैं $\left(\theta_{2}>\theta_{1}\right)$ । अंतरपृष्ठ का तापमान हैं।

821-1466

  • [JEE MAIN 2019]
  • A

    $\frac{\theta_2 + \theta_1}{2}$

  • B

    $\frac{\theta _1}{10} + \frac{9\theta _2}{10}$

  • C

    $\frac{\theta_1}{3} + \frac{2\theta_2}{3}$

  • D

    $\frac{\theta _1}{6} + \frac{5\theta _2}{6}$

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$T =10^{3}\, K$ तापमान के गर्म ऊष्मा भण्डार को $T =10^{2} \,K$ तापमान के ऊष्मा भण्डार से, $1\, m$ मोटाई के ताँबे के पटल द्वारा जोड़ते हैं। दिया है, ताँबे की ऊष्मा चालकता $0.1 \,WK ^{-1}\, m ^{-1}$ है। साम्यावस्था में इसमें गुजरने वाला ऊर्जा फ्लक्स .......... $Wm^{-2}$ होगा।

  • [JEE MAIN 2019]

$R$ त्रिज्या के बेलनाकार छड़ के पदार्थ का ऊष्मा चालकता गुणांक ${K_1}$ है। इसे एक अन्य ${K_2}$ ऊष्मा चालकता गुणांक के भीतर बेलनाकार खोल में रखा गया है, इसकी आन्तरिक त्रिज्या  $R$ और बाह्य त्रिज्या $2R$ है। दोनों बेलनों के सिरों को (संयुक्त रूप से) विभिन्न तापों पर रखा गया है, उनके पृष्ठों से ऊष्मा हानि नहीं होती है और निकाय स्थायी अवस्था में है, तो निकाय की संयुक्त ऊष्मा चालकता होगी

  • [IIT 1988]

एक बेलनाकार छड़ जिसका एक सिरा भाप कक्ष में एवं दूसरा बर्फ में रखने पर $0.1$ ग्राम बर्फ प्रति सैकण्ड पिघलती है। यदि दूसरी छड़ जिसकी लम्बाई पहली की आधी एवं त्रिज्या दुगनी हो उपयोग में लायी जाए, जिसकी ऊष्मा चालकता पहली छड़ की  $\frac{1}{4}$ गुनी है, तब बर्फ पिघलने की दर ग्राम/सैकण्ड में होगी

इन्जन हौज प्रयोग के अनुसार धात्विक छड़ की ऊष्मीय चालकता $K$  तथा छड़ पर पिघले मोम की लम्बाई $l$ में सम्बन्ध है

एक दीवार दो परतों $A$ और $B$ की बनी है। इन परतों की मोटाई समान है परन्तु पदार्थ अलग-अलग हैं। $A$ के पदार्थ की ऊष्मा चालकता $B$ से दुगनी है। तापीय साम्य अवस्था में दीवार के सिरों का तापान्तर $36°C$ है, परत $A$ के सिरों पर तापान्तर......... $^oC$ होगा

  • [IIT 1980]