यदि $b$ और $c$ का समान्तर माध्य $a$ है तथा ${G_1},\;{G_2}$ उनके बीच दो गुणोत्तर माध्य हैं, तब $G_1^3 + G_2^3 = $
${G_1}{G_2}a$
$2{G_1}{G_2}a$
$3{G_1}{G_2}a$
इनमें से कोई नहीं
दो संख्याओं के बीच समान्तर माध्य, हरात्मक माध्य व गुणोत्तर माध्य $\frac{{144}}{{15}}$, $15$ व $12$ हैं लेकिन यह क्रम आवश्यक नहीं है, तब हरात्मक माध्य, गुणोत्तर माध्य व समान्तर माध्य क्रमश: होंगे
तीन संख्याऐं एक वर्धमान गुणोत्तर श्रेढ़ी, जिसका सार्व अनुपात $I$ हैं, में है। यदि बीच की संख्या को दुगुना कर दिया जाये, तो नयी संख्याऐं एक समान्तर श्रेढ़ी, जिसका सार्वअंतर $d$ है, में हैं। यदि गुणोत्तर श्रेढ़ी का चौथा पद $3 r^{2}$, है, तो $r^{2}- d$ बराबर है
$n$ प्रेक्षणों के व्युत्क्रमों के माध्य का व्युत्क्रम, $n$ प्रेक्षणों का है
माना कि ${a_1},\;{a_2},.........,{a_{10}}$ समान्तर श्रेणी में हैं और ${h_1},\;{h_2},........,{h_{10}}$ हरात्मक श्रेणी में हैं। यदि ${a_1} = {h_1} = 2$ तथा ${a_{10}} = {h_{10}} = 3$, तो ${a_4}{h_7}$ =
जब $\frac{1}{a} + \frac{1}{c} + \frac{1}{{a - b}} + \frac{1}{{c - d}} = 0$ और $b \ne a \ne c$, तब $a,\;b,\;c$ होंगे