चित्र में दिखाये अनुसार दो समान दंडचुंबक एक दूसरे से कुछ दूरी पर परस्पर लम्बवत रखे हुए हैं। चुम्बकों के चारों ओर का क्षेत्र चार भागों में विभाजित है। यदि कोई उदासीन बिन्दु (neutral point) है, तो वह स्थित है
क्षेत्र $I$ में।
क्षेत्र $II$ में।
क्षेत्र $III$ में।
क्षेत्र $IV$ में।
एक छोटा चुम्बक जिसका चुम्बकीय आघूर्ण $ 6.75\, Am^2$ है। इसके अक्ष पर उदासीन बिन्दु प्राप्त होता है यदि पृथ्वी के चुम्बकीय क्षेत्र की तीव्रता का क्षैतिज घटक $5 \times {10^{ - 5}}\,Wb/{m^2}$ है तो उदासीन बिन्दु की दूरी.....$cm$ होगी
किसी छोटे छड़ चुंबक का चुंबकीय आधूर्ण $0.48 \,JT ^{-1}$ है। चुंबक के केंद्र से $10 \,cm$ की दूरी पर स्थित किसी बिंदु पर इसके चुंबकीय क्षेत्र का परिमाण एवं दिशा बताइए यदि यह बिंदु $(i)$ चुंबक के अक्ष पर स्थित हो $(ii)$ चुंबक के अभिलंब समद्विभाजक पर स्थित हो।
$3.0 \,A-m^2$ चुम्बकीय आघूर्ण के एक छड़ चुम्बक को एकसमान चुम्बकीय प्रेरण $2 \times 10^{-5} \,T$ में रखा गया है। यदि चुम्बक का प्रत्येक ध्रुव $6 \times 10^{-4}\, N$ का बल अनुभव करता है तो चुम्बक की लम्बाई....$m$ है
एक धारावाही लूप चुम्बकीय क्षेत्र में व्यवहार करता है
यदि देा चुम्बकीय ध्रुवों की ध्रुव प्राबल्य एवं इनके बीच की दूरी दोगुने कर दिये जायें तो इनके मध्य कार्यरत बल