दो समान टेनिस बॉलों को, जिनमें प्रत्येक का द्रव्यमान $'m'$ और आवेश $'q'$ है को $'l'$ लम्बाई के धागों के साथ एक स्थिर बिन्दु से लटकाया गया है। यदि प्रत्येक धागा, ऊर्ध्वाधर से छोटा कोण $'\theta'$ बनाए तो साम्यावस्था में धागों के बीच पथकन का मान होगा।
${x}=\left(\frac{{q}^{2} l}{2 \pi \varepsilon_{0} {mg}}\right)^{1 / 2}$
${x}=\left(\frac{{q}^{2} l^{2}}{2 \pi \varepsilon_{0} {m}^{2} {g}^{2}}\right)^{1 / 3}$
${x}=\left(\frac{{q}^{2} l}{2 \pi \varepsilon_{0} {mg}}\right)^{1 / 3}$
${x}=\left(\frac{{q}^{2} l^{2}}{2 \pi \varepsilon_{0} {m}^{2} {g}}\right)^{1 / 3}$
दो बिन्दु आवेश $ + 3\,\mu C$ एवं $ + 8\,\mu C$ एक दूसरे को $40\,N$ के बल से प्रतिकर्षित करते हैं। यदि $ - 5\,\mu C$ का आवेश प्रत्येक में और जोड़ दिया जाये तो इनके मध्य लगने वाला बल ........$N$ हो जायेगा
दो धनात्मक आवेश वाले गोले जिनका द्रव्यमान $m_1$ तथा $m_2$ है, छत पर उभय बिन्दु से एकसमान कुचालक भारहीन डोरी, जिसकी लंबाई $l$ है, से लटके हुए हैं। दोनों गोलों का आवेश क्रमश: $q_1$ तथा $q_2$ है। साम्यावस्था में दोनों गोलों की डोरियाँ ऊर्ध्वाधर से समान कोण $\theta$ बनाती हैं। तब
$(a)$ दो विध्यूतरोधी आवेशित ताँबे के गोलों $A$ तथा $B$ के केंद्रों के बीच की दूरी $50 \,cm$ है। यद् दोनों गोलों पर पृथक-पृथक आवेश $6.5 \times 10^{-7} C$ हैं, तो इनमें पारस्परिक स्थिरवैध्यूत प्रतिकर्षण बल कितना है? गोलों के बीच की दूरी की तुलना में गोलों $A$ तथा $B$ की त्रिज्याएँ नगण्य हैं।
$(b)$ यदि प्रत्येक गोले पर आवेश की मात्रा दो गुनी तथा गोलों के बीच की दूरी आधी कर दी जाए तो प्रत्येक गोले पर कितना बल लगेगा?
चार बिंदु आवेश $q_{ A }=2 \mu C , q_{ B }=-5 \mu C , q_{ C }=2 \mu C$ तथा $q_{ D }=-5 \mu C , 10 cm$ भुजा के किसी वर्ग $ABCD$ के शीर्षों पर अवस्थित हैं। वर्ग के केंद्र पर रखे $1 \mu C$ आवेश पर लगने वाला बल कितना है?
दो छोटी गेंदें जिनमें प्रत्येक पर $ + Q$ कूलॉम धन आवेश है, एक स्टैण्ड के हुक से बराबर लम्बाई $L$ मीटर की दो विद्युतरोधी डोरियों से लटकाई गई हैं। इस समायोजन को एक उपग्रह में रखकर अंतरिक्ष में जहाँ गुरुत्वाकर्षण नहीं है, ले जाया जाता है। दोनों डोरियों के बीच कोण तथा डोरियों में तनाव होगा