${O^{ + + }},\;{C^ + },\;H{e^{ + + }}$ एवं ${H^ + }$ आयन किसी द्रव्यमान स्पेक्ट्रोग्राफ में फोटोग्राफिक प्लेट की ओर समान वेग से प्रक्षेपित किये जाते हैं। कौनसा आयन दूर जाकर टकरायेगा
${O^{ + + }}$
${C^ + }$
$H{e^{ + + }}$
$H_2^ + $
कैथोड किरणों में होते हैं
कैथोड किरणें, दृष्य प्रकाष किरणों के समान होती हैं क्योंकि
थॉमसन प्रयोग द्वारा इलेक्ट्रॉन के लिए $\frac{e}{m}$ ज्ञात करते समय, इलेक्ट्रॉन पुंज के स्थान पर म्युऑनों $(muons)$ (एक प्रकार का कण जिस पर आवेश इलेक्ट्रॉन के बराबर परन्तु द्रव्यमान इलेक्ट्रॉन का $208$ गुना होता है) उपयोग करते हैं। इस स्थिति में शून्य विक्षेप स्थिति होगी यदि
एक इलेक्ट्रॉन ($e=\,1.6 \times {10^{ - 19}}C$) को $10^5$ वोल्ट के विभव द्वारा त्वरित किया जाता है। इलेक्ट्रॉन द्वारा प्राप्त ऊर्जा होगी
बेनब्रिज $(Bainbridge)$ द्रव्यमान स्पेक्ट्रोग्राफ में दो प्लेटों के बीच की दूरी $1 cm$ है तथा इसके बीच $\,1000 V$ विभवान्तर का विद्युत क्षेत्र एवं $B = 1T$ का चुम्बकीय क्षेत्र आरोपित किया जाता है। तो धनात्मक (अविचलित) आयन का वेग होगा