यदि सरल लोलक की लम्बाई $44\%$ से बढ़ा दी जाये तो इसके दोलनकाल में कितने ..... $\%$ प्रतिशत का परिवर्तन आयेगा
$22$
$20$
$33$
$44$
एक धागे से लटकी हुई गेंद एक ऊर्ध्वाधर तल में इस प्रकार झूल रही है कि अंत्य स्थिति व निम्नवत स्थिति में इसके त्वरण का परिमाण समान है। अंत्य स्थिति में धागे के विक्षेप का कोण होगा :
जब एक सरल लोलक को चित्र में दिखाये अनुसार $P$ से छोड़ा जाता है। तो $Q$ तक पहुँचने पर यह वायु घर्षण के कारण कुल ऊर्जा का $10\%$ भाग खो देता है। $Q$ पर इसका वेग ..... $m/sec$ होगा
$a$ कोण पर झुके हुए घर्षण-हीन नत समतल पर नीचे की ओर गतिमान कार की छत से लटके हुए $L$ लम्बाई के सरल लोलक का आवर्तकाल है
सरल लोलक जिसकी लम्बाई $L$ तथा गोलक का द्रव्यमान $M $ है, एक तल में ऊध्र्वाधर रेखा के परित: $ - \,\phi $ तथा $\phi $ सीमाओं के बीच दोलन कर रहा है। कोणीय विस्थापन $\theta (|\theta |\, < \phi )$, डोरी में तनाव तथा गोलक का वेग क्रमश: $T$ तथा $v$ है। उपरोक्त दशाओं में निम्नलिखित में से कौन-सा सम्बन्ध सही है
अचर लम्बाई के सरल लोलक का पृथ्वी की सतह पर आवर्तकाल $T$ है। इसका आवर्तकाल खदान के भीतर होगा