एकवर्णीं $600$ नैनोमीटर तरंगदैर्ध्य वाले प्रकाश से औसतन प्रति सेकण्ड उत्सर्जित फोटानों की संख्या होगी जब वह $3.3 \times 10^{-3}$ वाट शक्ति उत्सर्जित करता है :

$\left(\mathrm{h}=6.6 \times 10^{-34}\right.$ जूल $\times$ से.)

  • [NEET 2021]
  • A

    $10^{18}$

  • B

    $10^{17}$

  • C

    $10^{16}$

  • D

    $10^{15}$

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यदि एक अपरावर्तित तल, जिसका क्षेत्रफल $30 \;cm ^{2}$ है, पर $40$ मिनट तक $2.5 \times 10^{-6} \;N$ का औसत बल, प्रकाश तरंगों द्वारा आरोपित होता है, तो तल पर गिरने से पहले, प्रकाश का ऊर्जा फ्लक्स $\dots \;W / cm ^{2}$ होगा।

(निकटतम पूर्णांक में)

(यहाँ पूर्ण अवशोषण और अभिलम्बवत आपतन की स्थितियों को माना गया है।)

  • [JEE MAIN 2021]

एक पदार्थ का कार्यफलन $3.0 \mathrm{eV}$ है। इस पदार्थ से प्रकाश इलेक्ट्रॉनों के उत्सर्जन के लिए आवश्यक अधिकतम तरंगदैर्ध्य लगभग है।

  • [JEE MAIN 2024]

प्रकाश विद्युत प्रभाव में, यदि प्रकाश की तीव्रता दुगनी कर दी जाये तो फोटो इलेक्ट्रॉन की अधिकतम गतिज ऊर्जा हो जायेगी

$6eV$ ऊर्जा के फोटॉन, $4eV$ कार्यफलन के धात्विक पृष्ठ पर आपतित होते हैं। उत्सर्जित फोटो-इलेक्ट्रॉनों की न्यूनतम गतिज ऊर्जा ............. $eV$ होगी

$1.5 \times {10^{13}}Hz$ आवृत्ति वाले फोटॉन का संवेग होगा