एक तरंग का समीकरण, $Y = A\sin \omega \left( {\frac{x}{v} - K} \right)$ से दिया जाता है। जहाँ $\omega $ कोणीय वेग तथा $v$ रेखीय वेग है। $K$ की विमा है
$LT$
$T$
${T^{ - 1}}$
${T^2}$
कोहरे की स्थिति में वह दूरी $d$, जहाँ से सिग्नल स्पष्ट रूप से दिखाई दे, जानने के लिए एक रेलवे इंजीनियर विमीय विश्लेषण का प्रयोग करता है। उसके अनुसार यह दूरी $d$ कोहरे के द्रव्यमान घनत्व $\rho$ सिग्नल के प्रकाश की तीव्रता $S$ (शक्ति/क्षेत्रफल) तथा उसकी आवृत्ति $f$ पर निर्भर है। यदि इंजीनियर $d$ को $S ^{1 / n}$ के समानुपाती पाता है, तब $n$ का मान है :
एक स्तम्भ, जिसमें $\eta $ श्यानता गुणांक का श्यान द्रव भरा है, में से होकर एक स्टील की छोटी गेंद जिसकी त्रिज्या $r$ है, को गुरुत्वीय त्वरण के अधीन गिराया जाता है। कुछ समय पश्चात गेंद एक नियत मान ${v_T}$ जिसे सीमान्त मान कहते है, को प्राप्त कर लेती है। सीमान्त वेग ${\rm{(i)}}$गेंद के द्रव्यमान $m$ पर ${\rm{(ii)}}$ $\eta $ पर ${\rm{(iii)}}$ $r$ पर ${\rm{(iv)}}$ और गुरुत्वीय त्वरण $g$ पर निर्भर करता है। निम्न में से कौनसा सम्बन्ध विमीय रुप से सही है
$A, B, C$ तथा $D$ चार भिन्न मात्राएँ हैं जिनकी विमाएं भिन्न हैं। कोई भी मात्रा विमा-रहित मात्रा नहीं हैं, लेकिन $A D=C \ln (B D)$ सत्य है। तब निम्न में से कौन आशय-रहित मात्रा है ?
तार के कम्पन की आवृत्ति $\nu = \frac{p}{{2l}}{\left[ {\frac{F}{m}} \right]^{1/2}}$ से दी जाती है। यहाँ $p$ तार के लूपों की संख्या एवं l लम्बाई है। $ m$ का विमीय सूत्र होगा